आईजी ने ड्रग एवं हिंसा मुक्त अभियान के तहत गांव रावतखेडा मे लगाया डी-एडिक्शन कैम्प,ड्रग की लत छोड़ने के लिये गांव के 16 युवा आये आगे

22 Feb 2022 

कमल/न्यूज़ नगरी 

हिसार-श्री राकेश कुमार आर्य, पुलिस महानिरीक्षक, हिसार मंडल, हिसार के मार्गदर्शन मे मंडल के 25 गांव मे चलाये जा रहे ड्रग एवं हिंसा मुक्त मेरा गांव, मेरी शान अभियान के तहत गांव रावतखेडा मे डी-एडिक्शन कैम्प का आयोजन किया गया। स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से आयोजित कैंप मे नागरिक अस्पताल से डॉक्टर पूनम दहिया, मनोरोग विशेषज्ञ व डाक्टर शालू ढांडा ने कैम्प का संचालन किया। कैम्प में गांव के 16 युवाओं ने अपनी स्वेच्छा से ड्रग की लत छोडने के लिये अपना रजिस्ट्रेशन करवाया व डाक्टरो की टीम ने उनकी ड्रग हिस्ट्री बारे जानकारी ली, उनकी शारीरिक व मानसिक स्थिति की जांच उपरांत उनकी काउंसलिंग की व उनके जरूरी टेस्ट लिखे गये। पुलिस टीम नागरिक अस्पताल  हिसार में उक्त युवाओं के जरुरी टेस्ट कराएगी तदुपरान्त उन्हें दवा दिलवाई जायेगी।


आईजी, हिसार मंडल ने गांव रावतखेडा कैम्प मे पहुच व ड्रग की लत छोडने वाले युवाओं से मिले, उनका हौसला बढ़ाते हुये कहा कि अपनी भूल स्वीकार करने वाले बहुत अच्छे इन्सान होते है व ऐसे लोग बहुत जल्दी अपनी कमीयो को दूर कर समाजसेवी की भूमिका मे आते है। उन्होंने गांव वासियों को भी संबोधित करते हुये कहा कि ड्रग की लत एक बीमारी है, इस बीमारी का इलाज भी संभव है । जो युवा ड्रग की लत से पिडित है उन्हे परिवार के सहयोग की जरूरत होती है अत सहयोग कर उनका इलाज करवाना चाहिये।  कहा समाज मे व्याप्त बुराई चाहे ड्रग की हो अथवा अन्य उनके खिलाफ सबको एकजुट होना होगा। अपने घर-परिवार व गांव को ड्रग एवं हिंसा से दूर रखना, गांव में सौहार्द का माहौल बनाकर रखना, सामाजिक बुराइयों के खिलाफ आवाज उठाना सभी ग्रामवासियो का कर्तव्य एवं अधिकार दोनो है। डॉक्टर शालू ने लोगों को मानसिक रोग के लक्षण एवं उनकी गम्भीरता बारे विस्तृत जानकारी दी व उनके उपचार बारे भी बतलाया।


आईजी, हिसार मंडल ने गांव रावतखेडा कैम्प मे पहुच व ड्रग की लत छोडने वाले युवाओं से मिले, उनका हौसलाबढ़ाते हुये कहा कि अपनी भूल स्वीकार करने वाले बहुत अच्छे इन्सान होते है व ऐसे लोग बहुत जल्दी अपनी कमीयो को दूर कर समाजसेवी की भूमिका मे आते है। उन्होंने गांव वासियों को भी संबोधित करते हुये कहा कि ड्रग की लत एक बीमारी है, इस बीमारी का इलाज भी संभव है । जो युवा ड्रग की लत से पिडित है उन्हे परिवार के सहयोग की जरूरत होती है अत सहयोग कर उनका इलाज करवाना चाहिये।  कहा समाज मे व्याप्त बुराई चाहे ड्रग की हो अथवा अन्य उनके खिलाफ सबको एकजुट होना होगा। अपने घर-परिवार व गांव को ड्रग एवं हिंसा से दूर रखना, गांव में सौहार्द का माहौल बनाकर रखना, सामाजिक बुराइयों के खिलाफ आवाज उठाना सभी ग्रामवासियो का कर्तव्य एवं अधिकार दोनो है। डॉक्टर शालू ने लोगों को मानसिक रोग के लक्षण एवं उनकी गम्भीरता बारे विस्तृत जानकारी दी व उनके उपचार बारे भी बतलाया।
गांव मे पहुंचने पर आईजी हिसार मंडल का ग्रामवासियों ने हार्दिक स्वागत किया व गांव रावतखेडा को ड्रग एवं हिंसा से मुक्त अभियान मे शामिल करने पर आभार व्यक्त किया। ग्राम के सरपंच सियाराम, नम्बरदार ओमप्रकाश, श्रीराम सिघड, जगदीश डूडी, वजीर सिंह, साहिब राम सहित सैकड़ों ग्रामीणों ने आईजी को आश्वासन दिया की इस अभियान को सफल बनाने के लिये गांव एकजूट है व शीघ्र ही सभी गांव वासी गांव मे घुसपैठ करने वाले ड्ग तस्करो की निगरानी करने के लिये कमेटी बनायेगे। इस अभियान के तहत गठित पुलिस टीम ने गांव रावतखेडा व ढाणियो मे सर्वे कर 32 ऐसे युवाओं की पहचान की है जो ड्रग की लत मे पडे है, 16 लोग कैम्प मे आये। चिन्हित अन्य लोगो को भी पुलिस टीम द्वारा नागरिक अस्पताल मे चेकअप करवा उन्हें दवा दिलाई जायेगी। गांव मे लगभग 80 प्रतिशत सर्वे का कार्य पूर्ण कर लिया गया है जो शीघ्र ही पूर्ण कर लिया जायेगा, कोई नया युवा ड्रग की तरफ ना जाये इसके लिये निगरानी व जागरूकता कैम्प भी समय समय पर लगाये जायेगे । टीम द्वारा गांव मे खेलों को बढ़ावा देने का कार्य भी किया जा रहा है, गांव मे फुटबाल व वालीबाल टीम का गठन किया है। आईजी के सम्मुख भी गांव की वॉलीबॉल टीम ने अपना दमखम दिखाया, आईजी ने सभी खिलाड़ियों को साधुवाद दिया व अन्य खेलो की टीम भी तैयार करने व हर रोज शांय  एक से दो घंटे युवाओं को खेल मे व्यस्त रखने को कहा।



 

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